Crop Management: फसल विविधीकरण से खेती करना, परंपरागत खेती करने की अपेक्षा बेहतर कृषि प्रणाली साबित हो रही है. आज बहुत से किसान इस तकनीक को अपना कर अच्छा मुनाफा ले रहे हैं. फसल विविधीकरण खेती में मौसमी सब्जियों की खेती करना ज्यादा मुनाफे का सौदा है.
लेकिन मौसमी सब्जियों की खेती करते समय कई बार फसल में कीट और बीमारी की वजह से फसल खराब भी हो जाती है. जिस से फसल पैदावार पर असर पड़ता है और किसानों को उपज की गुणवत्ता अच्छी नहीं होने पर उस के दाम भी कम मिलते हैं .
कुछ ऐसे तौरतरीके हैं जिन्हें अपना कर किसान अपने नुकसान को कम कर सकते हैं:
– अपने क्षेत्र की जलवायु के अनुसार फसलों का चयन करें.
– फसलों की उन्नत किस्मों का चयन करें और प्रमाणित सैंटर से ही बीज खरीदें.
– समय पर खेत की मिट्टी की जांच कराएं और जांच की गुणवत्ता के आधार पर फसलों का चयन करें.
– फसल विविधीकरण खेती करते समय ये जरूर ध्यान रखें कि एक फसल की समस्या साथ वाले खेत या फसल तक ना पहुंचे. इस के लिए खेती करते समय मेड़ या फेंसिंग के जरीए अलगअलग फसलों के बीच में विभाजन कर सकते हैं. ऐसा करने से एक फसल की समस्या हवा या पानी के जरीए दूसरी फसलों तक नहीं पहुंच पाएगी.
– फसल विविधीकरण विधि से खेती कर अधिक मुनाफा कमाने के लिए किसान कम मूल्य की अपेक्षा अधिक मूल्य वाली फसलों जैसे सब्जियां, फल, फूलों आदि की खेती कर अधिक मुनाफा ले सकते हैं.
इस के तहत किसान अधिक पानी वाली फसलों के स्थान पर कम पानी वाली फसलों की खास किस्मों को लगाएं. इस के अलावा फसल विविधीकरण तकनीक अपनाते समय किसान समयसमय पर कृषि वैज्ञानिकों से सलाह जरूर लेते रहें. जिस से फसल में कोई भी समस्या आने पर उस का समाधान समय रहते किया जा सके.