Agricultural Fair : चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय में कृषि मेला (रबी) का आयोजन 21-22 सितंबर को किया जाएगा. कुलपति प्रो. बलदेव राज कांबोज ने यह जानकारी देते हुए बताया कि इस वर्ष मेले का विषय ‘प्राकृतिक संसाधन प्रबंधन’ होगा. मेले में आगंतुक किसानों को विश्वविद्यालय के वैज्ञानिकों द्वारा कृषि में प्राकृतिक संसाधन प्रबंधन के बारे में जानकारियां दी जाएंगी. इस मेले (Agricultural Fair ) में बीज, उर्वरक, कीटनाशक, कृषि मशीनें व यंत्र निर्माता कंपनियां भी भाग लेंगी. किसानों को विभिन्न कृषि कार्यों के लिए उपयुक्त मशीनों, यंत्रों और उन की कार्य प्रणाली के साथ इन मशीनों की कीमत तथा इन के निर्माताओं की भी जानकारी प्रदान की जाएगी.

उन्होंने आगे बताया कि मेले में किसानों को विश्वविद्यालय की ओर से सिफारिश की गई रबी फसलों के उन्नत बीज और बायोफर्टिलाइजर के अलावा कृषि साहित्य उपलब्ध करवाए जाएंगे.

विस्तार शिक्षा निदेशक डा. बलवान सिंह मंडल ने बताया कि पहले की तरह इस साल भी यह मेला विश्वविद्यालय के गेट नंबर 3 के सामने मेला ग्राउंड में लगाया जाएगा. इस के लिए मेला स्थल पर विभिन्न सरकारी बीज एजेंसियों के सहयोग से बिक्री काउंटर स्थापित किए जाएंगे. किसानों को विश्वविद्यालय के अनुसंधान फार्म पर वैज्ञानिकों द्वारा उगाई गई खरीफ फसलें दिखाई जाएंगी और उन में प्रयोग की गई टैक्नोलौजी की जानकारी दी जाएगी.

उन्होंने आगे बताया कि किसानों की कृषि, पशुपालन तथा गृहविज्ञान संबंधी समस्याओं का समाधान करने के लिए मेले के दोनों दिन प्रश्रोत्तरी सभाएं आयोजित की जाएंगी. मेला स्थल पर मिट्टी, सिंचाई जल व रोगी पौधों की वैज्ञानिक जांच करवाने की किसानों को सुविधा दी जाएगी. इस के साथसाथ दोनों दिन फसल प्रतियोगिता भी आयोजित की जाएगी.

सह निदेशक (विस्तार) डा. कृष्ण यादव ने बताया कि कृषि मेले में लगने वाली एग्रोइंडस्ट्रियल प्रदर्शनी के लिए स्टौलों की बुकिंग शुरू की जा चुकी है. प्राइवेट कंपनियों को स्टौल ‘पहले आओ, पहले पाओ’ के आधार पर आवंटित किए जा रहे हैं.

उन्होंने आगे बताया कि इस बार किसानों की सुविधा के लिए उन के बैठने हेतु वाटरप्रूफ पंडाल होगा. प्रदर्शनी क्षेत्र में पक्के रास्तों का निर्माण किया गया है और मेला स्थल की सुरक्षा के लिए चारदीवारी व प्रकाश की व्यवस्था की गई है. हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय हर साल सितंबर में कृषि मेला आयोजित करता है जिस में हरियाणा और पड़ोसी राज्यों से हजारों किसान भाग लेते हैं. इस मेले में एग्रोइंडस्ट्रियल प्रदर्शनी भी लगाई जाती है जिस में हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय, लुवास और हरियाणा कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के अतिरिक्त विभिन्न कृषि निविष्टों और फार्म मशीनरी बनाने वाली कंपनियां भी भाग ले कर अपनी तकनीकी प्रदर्शित करती हैं.

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