Sheep Herder : भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद नई दिल्ली के संस्थान केंद्रीय भेड़ एवं ऊन अनुसंधान संस्थान अविकानगर में 16 अक्तूबर, 2025 को आईसीएआर से आए उपमहानिदेशक पशु विज्ञान (डीडीजी) डा. राघवेंद्र भट्टा और सहायक महानिदेशक पशु स्वास्थ्य (एडीजी) डा. दिवाकर हेमाद्री द्वारा संस्थान की विभिन्न गतिविधियों में भाग ले कर अवलोकन करते हुए अपने आवश्यक सुझाव और मार्गदर्शन दिया. दोनों अथितियों ने और्गेनिक फार्मिंग समकलित मौडल के तहत निर्मित इकाई, सैक्टर 18 पर वैटरनरी डिस्पैंसरी एंड आइसोलेशन वार्ड, एबीआईसी के इंक्यूबिटी के उत्पाद का विमोचन, उत्कृष्ट 2 और 4 दांत प्रतियोगिता का उद्घाटन, एसीएसपी किसानों की सफलता की कहानी पुस्तक का विमोचन, मालपुरा परियोजना के किसानों को इनपुट्स फीडिंग ट्रॉफ और पानी की टंकी और संस्थान में चल रहे प्रशिक्षण कार्यक्रमों का इनपुट और प्रमाणपत्र वितरण के साथ समापन किया गया. डा. आर. भट्टा डीडीजी द्वारा कार्यक्रम में अपने संबोधन में संस्थान द्वारा किए जा रहे कार्य की किसानों से विचार विमर्श करते हुए प्रशंसा की और वर्तमान की चुनौतीयां और भविष्य के हिसाब अनुसार अपने शोधकार्य और फील्ड गतिविधियों में बदलाव करने की सलाह निदेशक डा. अरुण कुमार तोमर और उपस्थित वैज्ञानिकों को दी.
संस्थान निदेशक डा. अरुण कुमार द्वारा डीडीजी को संस्थान की विभिन्न परियोजनाओं और गतिविधियों की जानकारी देते हुए प्रशिक्षण हाल और संस्थान के स्टाफ के लिए भी सभागार के पुनिर्माण की मांग करते हुए परिषद से पूरे सहयोग की आशा की.
कार्यक्रम में परिषद के एडीजी डा. दिवाकर हेमाद्री द्वारा भी किसानों को अधिक से अधिक संस्थान से जुड़ कर वर्तमान के अनुसार वैज्ञानिक तरीके से भेड़पालन अपनाने पर जोर दिया और छोटे पशुओ में वैज्ञानिक स्वास्थ्य प्रबंधन पूरी तरह अमल में लाने के लिए निवेदन किया.
निदेशक डा. अरुण कुमार ने बताया कि हम डीडीजी डा. आर. भट्टा से हमेशा पूरा सहयोग मिलता रहता है. मालपुरा नस्ल की भेड़ के उत्कृष्ट मेढे प्रतियोगिता में 2 दांत में प्रथम, द्वितीय, तृतीय पुरस्कार कालूराम गुर्जर निमेड़ा, सियाराम मीना निमेड़ा, राजेश रैगर समेलिया फागी और 4 दांत मे प्रथम, द्वितीय, तृतीय पुरस्कार हीरालाल बैरवा भीपुर, कैलाश जाट अरनिया काकड़ पीपलू, रामदयाल सिंह रामदेव की ढाणी फागी को डा. आर. भट्टा द्वारा प्रमाणपत्र दे कर सभी प्रतिभागियों को मिल्क कैन का वितरण किया गया. इसी तरह मद समकालन और कृत्रिम गर्भाधान के 40 से ज्यादा प्रशिक्षण में भाग ले रहे प्रतिभागियों को अनुसूचित जाति उपयोजना से एआई किट का भी वितरण किया गया. सैक्टर 18 पर 24 गांवों के 52 मालपुरा भेड़पालक (Sheep Herder) किसान को फीडिंग ट्रॉफ का वितरण भी इस अवसर पर पधारे गए अथितियों द्वारा किया गया.
डीडीजी द्वारा संस्थान के सैक्टर भ्रमण के अलावा संस्थान के कर्मचारियों के साथ भी विस्तार से चर्चा की गई, जिस में आवश्यक बातों को सुन कर परिषद की ओर से पूरे सहयोग का आश्वासन दिया. अविकानगर संस्थान में इस अवसर पर और्गेनिक फार्मिंग विषय पर निर्मित इकाई की शुरुआत करते हुए उस को भविष्य के लिए डीडीजी जरूरी बताया.