हमारे देश को आजाद हुए एक लंबा समय हो गया है लेकिन किसान की हालत में खासा सुधार नहीं आया है. अच्छे या प्रगतिशील किसानों की गिनती उंगलियों पर ही की जा सकती है. किसानों की हालत ठीक हो, इस के लिए अनेक सरकारी योजनाएं भी आती हैं लेकिन वे भी आम किसानों तक पहुंच नहीं पातीं हैं. किसानों के सामने आज भी अनेक समस्याएं हैं जिन का उसे सामना करना पड़ रहा है.

देश में दिनोंदिन बढ़ती आबादी और शहरीकरण की वजह से खेती के क्षेत्रफल में भी कमी होती जा रही है. कम जमीन में ज्यादा पैदावार लेने की होड़ में अनेक ऐसे कृषि रसायनों का इस्तेमाल होने लगा है जो हमारे लिए बड़े ही घातक साबित हो रहे हैं.

इन सब बातों को देखते हुए ऐसे में किसानों को कुछ आधुनिक तौरतरीके अपनाने होंगे. कुछ ऐसी तकनीकें अपनानी होंगी, जिन से उन का खर्च कम हो और उपज अधिक मिले.

कई बार किसान अपनी लापरवाही या जानकारी न होने की वजह से खादपानी पर भी बिना सोचेसमझे खर्च कर देते हैं जबकि संतुलित मात्रा में खादपानी से भी काम हो सकता है इसलिए किसान नई तकनीक की जानकारी ले कर खेती करें तो फायदे में रहेंगे.

ऐसी ही कुछ जानकारी और सुझाव किसानों के लिए बताए जा रहे हैं जो उन के लिए फायदेमंद साबित होंगे.

पानी का सही इस्तेमाल

जमीन का समतलीकरण : लेजर लैंड लैवलर द्वारा जमीन के एकसार करने से 20 से 25 फीसदी तक सिंचाई की बचत होती है. फसलों की पैदावार में तकरीबन 10 फीसदी का इजाफा भी होता है. इसलिए समयसमय पर खेत जब खाली हों तो उस जमीन को समतल जरूर करवाएं.

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